Appendix – Hindi

4-Understanding-Legal-Proceduresv2

अनुबंध

डिस्क्लेमर: इस गाइड का मकसद पेशेवर सहायता, सलाह, या इलाज करना नहीं है. यह गाइड किसी भी रूप में उस प्रक्रिया की जगह नहीं ले सकती.

ट्रिगर की चेतावनी: ट्रिगर शब्द का मतलब है ऐसी कोई बात या घटना, जो कि सी चीज़ का नकारात्मक कारण बन सकती है. इस टूलकि ट में कुछ शब्द ऐसे हैं जो यौन हिंसा पीड़ितों के लिए दुखद हो सकते हैं यानी उनके लिए ट्रिगर का काम कर सकते हैं. इसका मतलब है उन शब्दों या वाक्यों को पढ़ने से पीड़ित या तो असहज महसूस कर सकते हैं या फिर चिंतित हो सकते हैं. ये ट्रिगर उन्हें खराब लगने वाली स्मृति यों में वापस ले जा सकते हैं. इस टूलकि ट को पढ़ते समय अगर कि सी को यह अनुभव होता है, तो एक ग्राउंडिंग एक्सरसाइज़ के ज़रिए वो तुरंत बेहतर महसूस कर सकते हैं

अपनी आँखें बंद करें और अपनी सांस पर ध्यान केंद्रित करें. अपने आप को बताएं कि आप सुरक्षित हैं और आप ठीक हैं. अपनी सांस का इस्तेमाल, मौजूदा समय के बारे में सोचने और इस समय में खुद पर ध्यान केंद्रित करने के लिए करें. ऐसा आप जितनी बार करना चाहें कर सकते हैं, या नियमित अंतराल पर करें. यह ज़रूरी नहीं आप इस टूलकि ट या गाइड को खुद पढ़ें. आप ऐसे कि सी व्यक्ति के साथ बैठकर इसमें लिखी जानकारी को समझ सकते हैं जो आपके करीब हो और आपके लिए विश्वसनीय हो.

अनुबंध ४

महिलाओं के विरुद्ध अलग अलग तरह के अपराध 

“महिलाओं और लड़कियों के विरुद्ध हिंसा" (VAWG) में महिलाओं और लड़कियों पर लड़की होने की वज़ह से नुकसान पहुंचाने वाले व्यवहार का उल्लेख है. लिंग आधारित हिंसा महिलाओं और लड़कियों के जीवन में अलग अलग चरणों में देखी जा सकती है. भ्रूण हत्या, छेड़ खानी, रेप, वर्कप्लेस में यौन उत्पीड़न, तस्करी, घरेलू हिंसा, वैवाहिक बलात्कार, दहेज़ से जुड़ी हिंसा वगैरह, यह सब इस वर्ग में आते हैं.

किसी भी तरह का यौन उत्पीड़न, चाहे वो एक बार किया गया हमला हो या बार बार लगातार लंबे समय तक होने वाली हिंसा बचने वाले के लिए शारीरिक और मानसिक क्षति पहुंचा सकता है. यौन हिंसा में हर तरह के अनचाहे संपर्क जो कि यौन इरादे के साथ किए जाते है, में छेड़ खानी से लेकर रेप तक शामिल हैं31.  

निम्नलिखित में महिलाओं के विरुद्ध कई तरह के यौन अपराधों का विवरण है जोकि भारतीय कानून में दंडनीय हैं. 

  1. रेप32 

    रेप का मतलब जब एक पुरुष:

  •     महिला की योनि, मुँह, मूत्र मार्ग या गुदा में जबरन घुसने की कोशिश करना, या किसी और व्यक्ति के साथ ये करने की ज़बरदस्ती करना;
  •   (लिंग के बजाय) किसी भी तरह का शरीर का अंग या वस्तु को महिला की योनि, मूत्र मार्ग या गुदा में जबरन डालना या महिला को ये सब किसी और के साथ करने के लिए मजबूर करना;
  •   महिला के शरीर के हिस्सों के साथ हेर फेर करना ताकि योनि, मूत्र मार्ग या गुदा की गहराई तक अंदर घुसा जा सके या महिला के शरीर के हिस्से या उस महिला से ये सब करवाया जा सके या तो उस एक पुरुष के साथ या किसी और व्यक्ति के साथ;
  •   अपने मुँह को महिला की योनि, गुदा या मूत्र मार्ग पर रखना या ये सब उस महिला को अपने साथ या किसी और के साथ करवाना 

ऊपर लिखित हरकतें रेप हो सकती हैं अगर महिला:

  •   ने अपनी सहमति नहीं दी;
  •   से जबरन सहमति ली गई ये सब करने के लिए: 
  • सहमति इसलिए दी गई क्योंकि अपराधी ने महिला या उसके प्रियजनों को जान से मारने या हानि पहुंचाने की धमकी दी हो;

 सहमति इसलिए दी हो क्योंकि महिला को लगा कि अपराधी उसका पति है;

  • सहमति इसलिए दी क्योंकि महिला को जबरन नशा दिया गया हो, शराब पिलाई गई हो, या महिला की मानसिक हालत ठीक नहीं है या वो मानसिक रोगी है;
  • वो 18 साल से छोटी उम्र की है; 
  • एक बालिका वधु है; 
  •  इस हालत में नहीं है कि वो अपनी सहमति दे सके (उदाहरण के तौर पर जब वो बेहोश हो).

अगर एक आदमी एक महिला को शादी के झूठे वादे कर उसके साथ जबरन सम्भोग करता है जबकि असलियत में शादी करने का उसका कोई इरादा नहीं है, इसे रेप कहते हैं33.

बिना पत्नी की सहमति के पति द्वारा जबरन सम्भोग करने को "वैवाहिक रेप" कहते हैं.  इसे भारत में अपराध नहीं माना जाता. जब एक पति अपनी पत्नी के साथ ज़बरदस्ती करता है ऐसे में वो महिला घरेलू हिंसा का केस कर सकती है. चाहे सहमति हो भी लेकिन अगर पत्नी की उम्र 18 साल से कम है और पति उसके साथ सम्भोग करता है, इसे कानून की नज़रों में रेप माना जाता है. 

फौजदारी कानून या क्रिमिनल ला के अंतर्गत भारत में निम्नलिखित में सजा मिल सकती है:

  1. वो लोग, ऐसे केस में जहां रेप जैसा अपराध करने के बाद महिला की चोट से मौत हो जाती है या वो लगातार ऐसी हालत में रहती है जहां दिमाग काम कर देता है और महिला को दवाइयों और मशीनी तौर पर जिंदा रखा जाता है34;
  2.   अलग अलग रहते वक़्त पति द्वारा सम्भोग35;
  3.   किसी ऐसे व्यक्ति द्वारा सम्भोग जो अधिकारी है36;
  4.   सामूहिक बलात्कार37.

B. एक महि ला की इज्जत का उल्लं घन करना38

दूसरे लोगों की मौजूदगी में एक पुरुष द्वारा एक महिला को उसे अपमानित करने के इरादे के साथ 

पीछे से चांटा लगाना, इसे एक महिला की इज़्ज़त का उल्लंघन करना कहते हैं39.

एक महिला की इज़्ज़त तब खतरे में होती है जब अपराधी या तो शारीरिक रूप से नहीं तो किसी और तरह एक महिला का अपमान और उसे शर्मिंदा करता है. 

ये हमला हो सकता है, आपराधिक जोर या कुछ ऐसे शब्द या इशारे या कुछ ऐसा दिखाना जो या तो महिला द्वारा देखा जाये या तो सुना जाये. 

”अपमान जनक या बेइज्जती करना" इसका अर्थ हर केस के लिए अलग होता है. 

जब अपराधी जानबूझकर कुछ ऐसा करे जो एक महिला के लिए अपमान जनक है, ये अपराध के दायरे में आता है. ऐसा माना जाता है कि कोई भी ऐसी हरकत जिससे एक महिला की नैतिकता के लिए अपमान जनक हो, वो इज़्ज़त के लिए भी अपमान जनक है40.

किसी भी तरह की खींच तान जिसके पीछे एक महिला के निजी अंगों को देखने की इच्छा रही हो, या, उनके कपड़े जैसे कि दुपट्टा, स्कार्फ़, स्टोल को उतार के उसके स्तन देखने की कोशिश की हो,  इसे शारीरिक एक्ट या धारा माना जाता है41

अगर अपराधी का मकसद महिला को लूटना है और उसकी इज़्ज़त उतरना नहीं, तो भी, एक केस इस धारा के तहत रजिस्टर किया जा सकता है. 

ऐसी हरकतों को सम्भोग की मांग के साथ जोड़ा जा सकता है. 

गैर भौतिक गतिविधियों में किसी तरह का गाना, फोटो या कुछ भी ऐसा दिखाना जो कि भद्दा माना जाता है, इसे एक महिला के लिए अपमान जनक और आपत्ति जनक माना जाता है42.

C. यौन उत्पीड़न43

यौन उत्पीड़न का मतलब:

(i) अनचाहा छूना या अनचाहे यौन संबंधों की मांग;
(ii) ब्लैकमेल का डर दिखा के यौन संबंधों की मांग रखना;
(iii) प्रताड़ित को, गंदी, भद्दी तस्वीरें, वीडियो दिखाना,  भद्दे मज़ाक या बातें बनाना. कई बार ऐसे मज़ाक प्रताड़ित की शारीरिक बनावट या दिखावट के बारे में भी होते हैं;
(iv) यौन इशारे;
(v) गलत और भद्दे सवाल पूछना, यौन संबंधी सुझाव देना और निजी यौन जीवन के बारे में टिप्पणी करना;
(vi) ऑनलाइन और सार्वजानिक जगहों पर पीछा करना;
(vii) अनचाहे सामाजिक न्यौते भेजना जो छेड़खानी से भरे हों; या Act 201344
(viii) और भी कई तरह के अनचाहे शारीरिक, मौखिक या इशारों में किए जाने वाले 

इसीलिए, किसी भी तरह का इशारा या हरकत जो चाहे सीधे तौर पर हो या नहीं लेकिन अगर वो एक महिला की इज़्ज़त पर हमला है, उसे यौन उत्पीडन कहते हैं. 

मोटे तौर पर यौन उत्पीड़न में पीछा करना, छेड़ खानी और ताक झांक करना इत्यादि शामिल है. 

कई बार जब यौन उत्पीड़न का केस रजिस्टर किया जाता है,  उसके साथ साथ इस तरह के मामले भी जोड़े जाते हैं (जैसे कि पीछा करना, छेड़ खानी इत्यादि)

कुछ समझने की बातें:

- किसी भी तरह का अनचाहा या अनुचित छूना उसे कहा जाता है जब एक आदमी आपको असुरक्षित महसूस कराए और उसकी मकसद आपको यौन उत्पीड़न द्वारा हानि पहुंचाना हो
- यौन इशारे जिनसे एक महिला की इज़्ज़त पर आंच आए. इनमें अनचाहा छूना, हवा में चुंबन वगैरह आते हैं.
- एक आदमी वट्सैप या ईमेल पर किसी तरह की भद्दी या अश्लील तस्वीरें भेज सकता है.
- मौखिक रूप से उत्पीडन में इशारे या आपकी सोशल मीडिया पर अश्लील कमेंट करना.

इतना ही नहीं: 

वर्कप्लेस में उत्पीड़न
उदाहरण: बीरा के लिए काम के लिए गोवा जाना एक बुरा अनुभव रहा. मुंबई ऑफ़िस से उसके सहयोगी केन ने उस दौरान कई बार बीरा तक पहुंचने की कोशिश की. 

उसने बीरा के साथ ज़बरदस्ती नाचा, बस में जबरन उसके साथ जा के बैठ गया और स्विमिंग पूल में गलत तरीके से छुआ. बीरा ने तय किया कि वो इस मामले के बारे में अपने सुपरवाइज़र से शिकायत दर्ज करायेगी. 

वर्कप्लेस में यौन उत्पीडन
एक महिला के लिए ना सिर्फ़ पूरे काम के माहौल को असुरक्षित और कठोर बना देता है बल्कि उनके काम करने की क्षमता में बाधा डालता है.

वर्कप्लेस में महिलाओं के साथ यौन उत्पीड़न (बचाव, बहिष्कार और निवारण) एक्ट, 2013 (POSH Act) महिलाओं को वर्कप्लेस में होने वाले यौन उत्पीड़न से बचाता है. ये कानून हर उम्र की, हर तरह की कामकाजी महिलाओं को, उनके काम करने की जगह चाहे संगठित हो या ना हो, उन्हें सुरक्षा देती है. 

इतना ही नहीं, वर्कप्लेस का मतलब कोई भी जगह जहां आप काम करते हैं, या काम के लिए जाते हैं. यदि कोई ऐसी जगह है जहां आप काम की वजह से जातें हैं, इसमें काम पर जाने या काम की वज़ह से आने जाने के लिए इस्तेमाल होने वाला परिवहन जोकि कार्यालय ने दिया है भी शामिल है. 

वर्कप्लेस में महिलाओं के साथ यौन उत्पीड़न (बचाव, बहिष्कार और निवारण) एक्ट, 2013 (POSH Act) में प्रताड़ित के शिक्षा से जुड़े संस्थान या अस्पताल जहां वो भर्ती हुईं हों भी शामिल है. एक खास कानून महिलाओं को सहारा देता है ताकि मामले को अंदरूनी तौर पर संभाला जाये. 

वर्कप्लेस में यौन उत्पीड़न का व्याख्यान: (वर्कप्लेस में महिलाओं के साथ यौन उत्पीड़न (बचाव, बहिष्कार और निवारण) एक्ट, 201345

  •     प्रताड़ित के लिएअनचाहा;
  •     प्रकृति में यौनिक;
  •     व्यक्तिपरक मामला;
  •     जहां प्रभाव है;
  •     ज्यादातर जहां शक्ति का प्रभाव हो; 

अनचाहा छूने का मतलब जब एक महिला "शक्तिहीन महसूस करे", "उसके मान को हानि हो", "उसे दुख और गुस्सा दिलाए", "अवैध" वगैरह. अनचाहे छूने का प्रभाव सीधे तौर पर काम की क्षमता और आत्म सम्मान पर आता है. 

इस तरह का उत्पीड़न ऐसे लोग करते हैं जो कार्यालय में अधिकारी के रूप में शक्तिशाली हों. जैसे कि मेनेजर और उनके नीचे काम करने वाले लोग. मैनेजर आगे बढ़ कर यौन संबंधों की मांग कर सकता है, डरा सकता है औऱ अगर महिला उनकी मांगें ना माने तो उसे काम में पदौन्नति देने से मना करे. 

प्रोफेशनल प्रभावों में46 :

  •   कम काम का प्रदर्शन;
  •   बात बात पे महिला को चर्चा का विषय बनाना;
  •   अपराधी और सहयोगियों से प्रतिशोध; या 
  •   काम और व्यवसाय में हानि होना 

अगर एक महिला को बार बार उसके वर्कप्लेस में  प्रताड़ित किया जा रहा है तो, वो मानसिक तौर पर दुखी महसूस करेगी, शर्मिंदा महसूस करेगी, अपने आप को अपराधी समझेगी, तनाव में रहेगी और काम करने में रुचि खो देगी, इत्यादि. प्रताड़ित को एक अच्छे माहौल के विपरीत, खराब माहौल में काम करना पड़े जहां उसे बार बार शर्मिंदा किया जाये. ऐसे में उसकी सेहत और सुरक्षा में कमी आ सकती है47.

कार्यालय या दफ्तर में होने वाला व्यवहार जिसे यौन शोषण कहा जा सकता है48.

  • ऐसे सुझाव देना जिससे लगे कि अगर डेट के न्यौता या यौन संबंधी बातें ना मानने से प्रोमोशन या काम में उन्नति पर असर पड़ेगा;
  • सीधे तौर पर या घुमा फिरा के यौन संबंधी एहसान माँगना और उसके बदले में नौकरी, पैसे, पदौन्नति या अच्छा काम देने का वायदा करना
  • किसी ऊंचे पद पर बैठने वाले अधिकारी द्वारा समान अवसर  या काम की जगह / कार्यालय में दिक्कतें पैदा करना क्योंकि आपने यौन संबंधी बातें ya हरकतें करने से इंकार कर दिया; या
  • यौन संबंधों के ऐवज में नौकरी देने का वादा करना. 

जैसा कि पहले भी बताया गया है, प्रताड़ित व्यक्ति अपने काम करने की जगह पर सहारा ले सकते हैं.  अगर आप प्रताड़ित हैं तो लिखित शिकायत के साथ-साथ ऐसे दस्तावेज़ और गवाहों की लिस्ट अंदरुनी मामलों की जांच करने वाली कमेटी के सामने उत्पीड़न के 3 महीनों के अंदर अंदर प्रस्तुत कीजिए. प्रताड़ित को इन दस्तावेज़ों और गवाहों की लिस्ट की 6 कॉपियां बनानी होंगी. 

प्रताड़ित औपचारिक या अनौपचारिक तौर पर शिकायत दर्ज करा सकते हैं. अगर औपचारिक तरीका अपनाते हैं तो, जिसके ख़िलाफ़ शिकायत की गई है उसे शिकायत मिलने के 7 दिनों के अंदर अंदर नोटिस भेजा जाएगा और उसे 10 दिन के अंदर अंदर जवाब देना होगा. जांच 3 महीने के अंदर खत्म की जायेगी. यदि प्रताड़ित या जिसके ख़िलाफ़ शिकायत की गई है वो जांच के नतीजे से ना खुश हैं तो कोर्ट में 3 महीने के अंदर अपील कर सकते हैं49.

प्रताड़ित महिला एवं बाल कल्याण मंत्रालय में SHe-Box के ज़रिए शिकायत दर्ज करा सकते हैं. SHe-Box यौन उत्पीड़न के मामले मेँ शिकायत दर्ज कराने का ऑनलाइन प्लेटफॉर्म है. ये महिलाओं को शिकायत रजिस्टर और बाद में शिकायत कहां तक पहुंची इसकी जानकारी देता है. 

एक महिला पुलिस के पास जाकर FIR भी दर्ज करा सकती हैं. 

D. ताक झाँक50

उदाहरण: रानी बाजार से कुछ कपड़े खरीदने गई. कपड़े पहन कर देखते वक्त उसे चेंजिंग रूम में छिपा हुआ कैमरा दिखा. ये दंडनीय अपराध है. 

एक महिला के निजी अंगों को देखना या उनकी तस्वीर निकालना, खासकर तब जब उसे लग रहा हो कि कोई नहीं देख रहा है, एक दंडनीय अपराध है51ताक झाँक करने वाला व्यक्ति आपको इन क्षणों में देख सकता है या फोटो, वीडियो निकाल सकता है:

“Peeping toms” may look at or capture when:

  •     जब आप टॉयलेट इस्तेमाल कर रहे हों;
  •     जब आप कपड़े बदल रहे हों या अपने निजी कपड़ों मेँ हों; या 
  •     आप अपने साथी के साथ यौन संबंध में हों 

बिना आपको ख़बर लगे आपके बेडरूम या कंप्यूटर के कैमरे को हैक किया जा सकता है और एक आदमी आपको अवैध रूप से आपको आपके घर में देख सकता है52 .

अगर एक महिला ने अपनी निजी फोटो के लिए अनुमति दी है, इस भरोसे के साथ की वो फोटो सिर्फ फोटोग्राफर और उस महिला के बीच में रहेंगी, लेकिन इसके बावजूद उनको किसी तीसरे के साथ साँझा किया जाता है तो ये अपराध जनक माना जाता है.

E. पीछा करना53

उदाहरण: सतीश और सना का प्रेम संबंध टूट गया. सना को ऐसा लगा कि सतीश के साथ रिश्ता टूटने के बावजूद, सतीश उसका पीछा कर रहा था औऱ सना के दफ्तर के सहयोगियों को परेशान कर उसकी जानकारी ले रहा था. सना को अपने घर से निकलने में डर लगने लगा. 

पीछा करने का मतलब, जब कोई आदमी आपके पीछे-पीछे घूमे और आपसे बात करने की कोशिश करे, आपके आने जाने पर नजर रखे ताकि मौका लगते ही आपको हानि पहुंचा सके या डरा सके54ये तब भी हो सकता है जब महिला पूरी तरह बता चुकी है कि वो उस आदमी के साथ संबंध नहीं चाहती, कई बार पीड़ित को ये सब नहीं पता चलता.

आज के डिजिटल दौर में पीछा करना सिर्फ शारीरिक तौर पर ही नहीं सीमित है, ये  फोन पर या ऑनलाइन भी हो सकता है. पीछा करना सिर्फ एक इकलौता वाक्य हो ऐसा ज़रूरी नहीं है, ये यौन उत्पीड़न, छेड़ खानी और एक महिला की इज़्ज़त पर हमला भी हो सकता है55.  

अलग अलग तरह के सोशल मीडिया जैसे कि फेसबुक, इन्स्टागराम, वगैरह को कई बार इस्तेमाल किया जाता है ताकि महिलाओं को परेशान किया जा सके56.

अगर कोई आदमी एक महिला की ऑनलाइन गतिविधियों पर सोशल मीडिया और इन्स्टेनट मेसेंजर के जरिए नजर रखता है तो उसे साइबर सटाकिनग कहा जाता है. ऐसे में पीड़ित साइबर सेल में शिकायत दर्ज करा सकते हैं. 

कई ऐसी हरकतें हैं जो स्टॉकिग की परिभाषा में आते हैं: 

  •     आपको परेशान करने वाले फोन कॉल आयें;
  •     आपको परेशान करने वाले टेक्स्ट मेसेज भेजे जायें;
  •     अपराधी आपके घर के बाहर हर रोज आपका इन्तेज़ार करे;
  •     आपको चिट्ठियां या  उपहार भेजे जायें; या
  •     आपके सोशल मीडिया गतिविधियों पर नजर रखी जाये.

F. छेड़खानी

छेड़ खानी का मतलब एक आदमी के द्वारा सार्वजनिक जगहों पर अनचाहे यौन संबंध बनाने की कोशिश करना. ऐसे में उत्पीड़ित व्यक्ति पुलिस के पास जाकर शिकायत दर्ज करा सकता है. 

छेड़ खानी मौखिक, शारीरिक, मानसिक, यौन उत्पीडन या किसी चीज़ के जरिए की जा सकती है57

1860 के इंडियन पीनल कोड के सेक्शन 294 के तहत, महिलाएं उन आदमियों के ख़िलाफ़ शिकायत दर्ज करा सकती हैं जो भद्दी, अश्लील बातें करते हैं या ऐसे गाने गाते हैं जिनसे महिलाओं को आपत्ति हो58

 

 

संदर्भ


31. सेक्शन ३५४ एं ड ५०९, इंडियन पीनल कोड, १८६०
32. सेक्शन ३७६, इंडियन पीनल कोड, १८६०
33. दीपक गुलाटी व्. स्टेट ऑफ़ हरयाणा, AIR २०१३ SC २०७१
34. सेक्शन ३७६ए, इंडियन पीनल कोड, १८६०
35. सेक्शन ३७६बी, इंडियन पीनल कोड, १८६०
36. सेक्शन ३७६सी, इंडियन पीनल कोड, १८६०
37. सेक्शन ३७६डी , इंडियन पीनल कोड, १८६०
38. सेक्शन ३५४ एं ड ५०९, इंडियन पीनल कोड, १८६०
39. कँ वल पाल एस. गि ल व्. स्टेट (एडमि न UT चं डी गढ़)
40. स्टेट ऑफ़ केरला व्. हमसा, (१९८८) ३ cri १६१
41. Raju राजू पांडुरंग महाले व्. स्टेट ऑफ़ महारास् ट्र, AIR २००४ SC १६७७
42. ए क्रिटि कल ओवरव्यू ऑफ़ ओफ्फेंसेस अगेंस्ट वी मेन अंडर द इंडियन पीनल कोड, https://www.lawctopus.com/academike/critical-overview-offences-women-indian-penal-code/
43. सेक्शन ३५४ए, इंडियन पीनल कोड, १८६०
44. हैंडबुक ऑन सेक्सुअल हर्रा स्मेंट ऑफ़ वी मेन ऐट वर्क प्लेस (प्रिवेंशन, प्रोहिबिश न एंड रेड्रेस्सेल)
https://www.iitk.ac.in/wc/data/Handbook%20on%20Sexual%20Harassment%20of%20Women%20at%20Workplace.pdf
45.https://www.iitk.ac.in/wc/data/Handbook%20on%20Sexual%20Harassment%20of%20Women%20at%20Workplace.pdf
46. इंडिया’ लॉ ऑन प्रिवेंशन ऑफ़ सेक्सुअल हर्रा स्मेंट एट द वर्क प्लेस, अक्टूबर २०१८,
http://www.nishithdesai.com/fileadmin/user_upload/pdfs/Research%20Papers/Prevention_of_Sexual_Harassment_at_Workplace.pdf
47. हैंडबुक ऑन सेक्सुअल हर्रा स्मेंट ऑफ़ वी मेन एट वर्क प्लेस फॉर एम्प्लॉयर्स / इंस्टीटूशन्स / ओर्गनइजेशन्स / इंटरनल कम्प्लेंट्स कमि टी / लोकल कम्प्लेंट्स कमि टी (प्रिवेंशन/प्रोहिबिश न एंड रेड्रेस्सेल) एक्ट २०१३, नवं बर २०१५,
https://wcd.nic.in/sites/default/files/Handbook%20on%20Sexual%20Harassment%20of%20Women%20at%20Workplace.pdf
48. इंडिया’ लॉ ऑन प्रिवेंशन ऑफ़ सेक्सुअल हर्रा स्मेंट एट द वर्क प्लेस, अक्टूबर २०१८
http://www.nishithdesai.com/fileadmin/user_upload/pdfs/Research%20Papers/Prevention_of_Sexual_Harassment_at_Workplace.pdf
49. हैंडबुक ऑन सेक्सुअल हर्रा स्मेंट ऑफ़ वी मेन एट वर्क प्लेस (प्रिवेंशन /प्रोहिबिश न एं ड रेड्रेस्सेल), एक्ट २०१३ https://www.iitk.ac.in/wc/data/Handbook%20on%20Sexual%20Harassment%20of%20Women%20at%20Workplace.pdf
50. सेक्शन ३५४सी, इंडियन पीनल कोड, १८६०
51. सेक्सुअल क्राइम्स, https://nyaaya.org/topic/sexual-crimes/
52. निजता का हनन, https://nyaaya.org/violence-and-abuse/invasion-of-privacy/
53. सेक्शन ३५४डी , इंडियन पीनल कोड, १८६०
54. स्टॉल्किंग, https://nyaaya.org/violence-and-abuse/stalking/
55. #मीटू: हाउ द लॉ प्रोटेक्ट्स यू अगेंस्ट स्टॉल्किंग, https://barandbench.com/me-too-law-protects-you-stalking/
56. #मीटू: हाउ द लॉ प्रोटेक्ट्स यू अगेंस्ट स्टॉल्किंग, https://barandbench.com/me-too-law-protects-you-stalking/
57. द डिप्टी इंस्पेक्टर जनरल ऑफ़ पुलिस एंड Ors. व्. एस. समुथि राम, MANU/SC/१०२९/२०१२
58. टबीई ब्लोग्स: फ्रॉम ईव तैसिं ग तो स्टाकिंग, तेरे अरे लॉज़ तो काउंटर अन्य फॉर्म ऑफ़ सेक्सुअल हरस्मेंट इन इंडिया

 

एंडनोट्स

कानूनी कार्यवाही

https://nyaaya.org/violence-and-abuse/inappropriate-sexual-touch/

https://nyaaya.org/police-and-courts/fir/fir-filed-for-women-related-offences/

https://nyaaya.org/topic/sexual-crimes/

https://nyaaya.org/topic/arrest/

 

मेडिकल सहायता और जांच

MoHFW मेडिको-लीगल गाइडलाइन्स फॉर केयर
कम्प्रेहैन्सिव हेल्थ केयर रिस्पांस तो सेक्सुअल वा यलेंस: CEHAT